“न्यूक्लियर ब्लैकमेलिंग नहीं सहेगा भारत”, बातचीत केवल पीओके और आतंकवाद पर होगी
नई दिल्ली, 12 मई।ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को राष्ट्र को संबोधित करते हुए स्पष्ट संदेश दिया कि अब भारत आतंकवाद, राज्य प्रायोजित हिंसा और न्यूक्लियर धमकियों को किसी भी रूप में सहन नहीं करेगा। उन्होंने दो टूक कहा कि पाकिस्तान से अब कोई ‘परंपरागत बातचीत’ नहीं होगी—बातचीत होगी, तो केवल पीओके और आतंकवाद पर।
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में भारतीय सेना, खुफिया एजेंसियों और वैज्ञानिकों की प्रशंसा करते हुए कहा कि ऑपरेशन सिंदूर ने भारत की सैन्य शक्ति और रणनीतिक क्षमता का दुनिया को अहसास कराया है। उन्होंने कहा:
“हमारे वीर सैनिकों ने जो पराक्रम दिखाया, वो हर भारतवासी के लिए गर्व का विषय है। उनकी यह वीरता देश की हर मां, बहन और बेटी को समर्पित है।”
22 अप्रैल का आतंकी हमला बना निर्णायक मोड़
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया था। प्रधानमंत्री ने कहा कि निर्दोष पर्यटकों को उनके धर्म पूछकर मारना, यह मानवता पर हमला था। इसी के बाद ऑपरेशन सिंदूर की योजना को अंजाम दिया गया।
सीधे पाकिस्तान को चेतावनी
प्रधानमंत्री ने पाकिस्तान द्वारा आतंकियों को समर्थन देने और बदले की नीयत से भारत पर हमला करने की कोशिश का जवाब देते हुए कहा:
“हमने सीने पर वार किया। अब पाकिस्तान और उसके आतंकी आकाओं को समझ आ गया है कि भारत की नई नीति क्या है।”
उन्होंने यह भी बताया कि भारतीय मिसाइलों और ड्रोनों ने पाकिस्तान के उन आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया, जिन्हें वह वर्षों से छिपाता आया था।
बातचीत सिर्फ दो मुद्दों पर
प्रधानमंत्री ने स्पष्ट किया कि अब पाकिस्तान के साथ कोई बहुपक्षीय बातचीत नहीं होगी। उन्होंने कहा:
“अगर भारत और पाकिस्तान के बीच संवाद होगा, तो वह केवल दो विषयों पर होगा—पीओके और आतंकवाद। बाकी सब बातें अब पीछे रह गई हैं।”
‘आतंक और व्यापार साथ नहीं चल सकते’
प्रधानमंत्री ने सिंधु जल संधि की पृष्ठभूमि में यह भी कहा कि भारत अब उन समझौतों की समीक्षा करेगा जिनका इस्तेमाल पाकिस्तान भारत के खिलाफ करता रहा है। उन्होंने जोर देकर कहा:
“आतंकवाद और व्यापार साथ नहीं चल सकते। खून और पानी भी अब एक साथ नहीं बह सकते।”
न्यूक्लियर धमकियों पर तीखा जवाब
पाकिस्तानी नेताओं द्वारा बार-बार दिए जा रहे न्यूक्लियर हमले के संकेतों पर प्रधानमंत्री ने दो टूक कहा:
“भारत अब किसी भी न्यूक्लियर ब्लैकमेलिंग को नहीं सहेगा। हमने अभी अपनी जवाबी कार्रवाई को रोका है, लेकिन अगर ज़रूरत पड़ी तो भारत निर्णायक और सटीक प्रहार करेगा
